लखनऊ। उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस संक्रमण पर व्यापक नियंत्रण के बाद अब उत्तर प्रदेश सरकार जीवन शैली को सामान्य बनाने के अभियान में लगी है। प्रदेश में लॉकडाउन खत्म करने के बाद बाजारों को खोला गया। सूबे में सोमवार से माध्यमिक, उच्च, प्राविधिक और व्यावसायिक शिक्षण संस्थानों में पढ़ाई शुरू हो गयी। अब बेसिक और प्राइमरी स्कूल खोलने की भी तैयारी है। प्रदेश कोरोना वायरस संक्रमण का असर मंद होता देख अब कक्षा छह से आठ और एक से पांच को भी जल्द ही खोला जायेगा। कक्षा 6 से कक्षा 8 तक के स्कूलों को रक्षाबंधन के बाद अगले दिन यानी 23 अगस्त से स्कूल भेजने की तैयारी है। इसके बाद एक सितंबर से कक्षा एक से पांच तक पढ़ाई शुरू होने की संभावना है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को लोकभवन में कोविड प्रबंधन के लिए गठित टीम-9 और राज्य स्तरीय स्वास्थ्य विशेषज्ञ सलाहकार समिति के साथ समीक्षा की। इसी समिति की अनुशंसाओं के अनुरूप रक्षाबंधन के बाद 23 अगस्त से कक्षा 6 से 8 और 1 सितंबर से कक्षा 1 से 5 तक के स्कूलों में पठन-पाठन प्रारंभ करने पर विचार किया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य स्तरीय स्वास्थ्य विशेषज्ञ सलाहकार समिति की अनुशंसाओं के अनुरूप सोमवार से माध्यमिक, उच्च, प्राविधिक और व्यावसायिक शिक्षण संस्थानों में 50 फीसदी क्षमता के साथ भौतिक रूप से पठन-पाठन शुरू हो गया है। सभी जगह कक्षाएं दो पाली में चलें। कोविड प्रोटोकॉल का पूरा ध्यान रखा जाये। रक्षाबंधन के बाद 23 अगस्त से 6वीं से 8वीं तक और 1 सितंबर से कक्षा 1 से 5वीं तक के विद्यालयों में पठन-पाठन शुरू करने पर विचार किया जाये।
प्रदेश में सोमवार से कक्षा नौ से 12 तक के बच्चों को स्कूल में बुलाकर पठन-पाठन का सिलसिला शुरू किया गया है। माध्यमिक, उच्च, प्राविधिक व व्यावसायिक शिक्षण संस्थानों में 50 फीसदी बच्चों की क्षमता के साथ पठन-पाठन शुरू हो गया है। सभी जगह कक्षाएं दो पाली में चलाने की प्रक्रिया की गयी है। इस दौरान कोविड प्रोटोकॉल का पूरा ध्यान रखा जा रहा है। गौरतलब है कि पहले कक्षा 6 से कक्षा 8 तक की कक्षाएं 1 सितंबर से चलाने की बात चल रही थी, लेकिन अब चूंकि कोविड की स्थिति तेजी के साथ बेहतर हो रही है सरकार स्कूलों को जल्द से जल्द खोलने पात्र विचार कर रही है। इसी के तहत कोचिंग सेंटर खोलने की अनुमति सरकार पहले ही दे चुकी है।