लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बृहस्पतिवार को मुख्यमंत्री हेल्पलाइन नंबर 1076 की शुरूआत की। इस हेल्पलाइन पर 24 घंटे लोगों की समस्याएं सुनी जाएंगी और मुख्यमंत्री खुद इसकी निगरानी करेंगे।
प्रदेश के किसी भी स्थान से शिकायतकर्ता इस हेल्पलाइन पर फोन कर शिकायत दर्ज करवा सकता है। यह सुविधा 24 घंटे उपलब्ध रहेगी।
मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ सीएम हेल्पलाइन-1076 का शुभारम्भ करते हुए। https://t.co/iuH3xYIKPp
— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) July 4, 2019
यह हेल्पलाइन शिकायतकर्ता की परेशानी का जब तक निराकरण नहीं करती, तब तक इसका फॉलोअप किया जाएगा। शिकायत तभी बन्द होगी जब शिकायतकर्ता खुद कहेगा कि उसकी समस्या का समाधान हो गया है।
झूठी शिकायत करने पर शिकायतकर्ता के खिलाफ कार्वाई होगी। मुख्यमंत्री योगी ने लोकभवन में मुख्यमंत्री हेल्पलाइन नंबर 1076 का लोकार्पण करते हुए कहा कि यह जनता के प्रति सरकार की जवाबदेही तय करेगी। लोकतंत्र में जनता से संवाद जरूरी है और मुख्यमंत्री हेल्पलाइन इसका बड़ा साधन बनेगी।
उन्होंने कहा कि जनता के बीच जाकर पता चलता है कि लाभार्थी को सुविधा तो मिली लेकिन वह इस बात से अन्जान होता है कि यह सुविधा उसे सरकार द्वारा मिली है।
उन्होंने संवादहीनता को इसका कारण बताया। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस हेल्पलाइन नंबर में एक दिन में 80 हजार इनबाउण्ड कॉल्स तथा 55 हजार आउटबाउण्ड कॉल्स की क्षमता है।
इस हेल्पलाइन के माध्यम से किसी भी विभाग से जुड़ी शिकायत दर्ज कराने के 3-4 दिन के भीतर शिकायतकर्ता से पूछा जाएगा कि उसकी शिकायत का निस्तारण हुआ या नहीं।
शिकायत का समाधान न करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्वाई की जाएगी। योगी ने कहा कि अब तक प्रदेश के दूरदराज के इलाकों से लोगों को रुपए खर्च कर अपनी समस्या के हल के लिए लखनऊ आना पड़ता था।
हेल्पलाइन शुरू होने से शिकायतकर्ता घर बैठकर अपनी समस्या शासन तक पहुंचा पाएंगे। उन्होंने बताया कि इस हेल्प लाइन के शुरू होने से 500 युवाओं को रोजगार मिला। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को सीएम हेल्पलाइन में आने वाली शिकायतों के समय पर समाधान का निर्देश दिया।
उन्होंने कहा कि हर महीने के अंत में वह स्वयं हेल्पलाइन में आई शिकायतों में से 100 मामलों का चुनाव कर शिकायतकर्ता से खुद फीडबैक लेंगे। अगर शिकायतकर्ता संतुष्ट नहीं हुआ तो संबंधित अधिकारी की जवाबदेही तय होगी और उनके खिलाफ कार्वाई की जाएगी। इसे अधिकारियों के एसीआर से जोड़ा जाएगा।