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मुख्यमंत्री ने सिडबी के ‘स्वावलम्बन केन्द्र’ का ऑनलाइन किया शिलान्यास, देखा डिस्प्ले मॉडल
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को अपने सरकारी आवास पर सिडबी के ‘स्वावलम्बन केन्द’ का आॅनलाइन शिलान्यास किया। उन्होंने कहा कि सिडबी के नये भवन के निर्मित हो जाने से प्रदेश में एमएसएमई सेक्टर से जुड़े कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने तथा स्टार्टअप की स्थापना करने में सहूलियतें प्राप्त होंगी, जिससे प्रदेश के अन्दर एक नई कार्य संस्कृति देखने को मिलेगी।
मुख्यमंत्री ने ‘स्वावलम्बन केन्द्र’ का डिस्प्ले मॉडल देखकर विश्वास व्यक्त किया कि यह बिल्डिंग ग्रीन बिल्डिंग के रूप में विकसित की जाएगीए जिसमें ऊर्जा, जल, वेस्ट प्रोडक्ट की बचत के साथ-साथ जल की रीसाइकिलिंग और रीचार्जिंग की व्यवस्थाएं होंगी। ग्रीन एनर्जी को प्रोत्साहित करने और जल संरक्षण के अभियान को आगे बढ़ाने के लिए तथा एमएसएमई सेक्टर के प्रोत्साहन के लिए यहां जो व्यवस्थाएं की गयी हैं वह अत्यन्त महत्वपूर्ण और आज की आवश्यकता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि भारतीय लघु उद्योग विकास बैंक (सिडबी), सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (एमएसएमई) क्षेत्र के संवर्धन, वित्त पोषण और विकास के लिए कार्य करने वाली प्रमुख वित्तीय संस्था है। सिडबी द्वारा भारत सरकार के स्टार्ट-अप फण्ड के निधि प्रबन्धन का कार्य किया जा रहा है। प्रधानमंत्री द्वारा भारत के युवाओं के अभिनव विचारों को साकार करने के लिए ‘स्टार्ट-अप इण्डिया’ ‘स्टैण्ड-अप इण्डिया’ तथा ‘मेक इन इण्डिया’ जैसे कार्यक्रमों को लगातार आगे बढ़ाने का कार्य किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘स्टार्ट-अप इण्डिया’ कार्यक्रम की सफलता के लिए स्टार्ट-अप्स को आगे बढ़ाना आवश्यक है। स्टार्ट-अप के क्षेत्र में इनोवेशन का बहुत महत्व है। इनोवेशन में सकारात्मक परिवर्तन लाने की असीमित क्षमता है। नवप्रवर्तन तथा उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए प्रदेश सरकार राज्य के युवाओं को ‘रोजगार आकांक्षी’ के बजाए ‘रोजगार आकांक्षी’बनने के लिए प्रोत्साहित कर रही है।
उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में स्टार्ट-अप फण्ड की स्थापना के लिए लगभग 1000 करोड़ रुपये की लागत से जो कार्यवाही प्रारम्भ हुई है, इसमें भी सिडबी ने उत्तर प्रदेश के साथ एक एमओयू हस्ताक्षरित किया है। इससे आत्मनिर्भर भारत तथा लोगों को स्वावलम्बी बनाने में मदद मिलेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा एक अभिनव योजना ‘एक जनपदए एक उत्पाद’ (ओडीओपी) योजना लागू की गयी है, जो एमएसएमई सेक्टर के लिए गेम चेन्जर का काम कर रही है। विगत मई माह में उत्तर प्रदेश सूचना प्रौद्योगिकी एवं स्टार्ट-अप नीति के अन्तर्गत सिडबी को प्रथम किश्त के रूप में 15 करोड़ रुपये अन्तरित किए गए थे। साथ ही, ‘फण्ड ऑफ फण्ड्स’ की व्यवस्था के लिए शासन द्वारा सिडबी के साथ समझौता ज्ञापन का औपचारिक आदान-प्रदान भी किया गया था।
ज्ञातव्य है कि ‘स्वावलम्बन केन्द्र’ यहां शहीद पथ पर लगभग 1 एकड़ क्षेत्रफल में निर्मित होगा। इस भवन को ग्रीन बिल्डिंग के रूप में विकसित किया जाएगा। इसके साथ ही, इसमें सौर ऊर्जा का भी उपयोग होगा। इसमें 500 लोगों की क्षमता का मल्टी परपज हॉल भी होगा, जिसका कॉन्फ्रेंस और ऑडिटोरियम के रूप में उपयोग किया जा सकेगा। इसके अलावा, इसमें 50 लोगों की क्षमता के 4 मीटिंग रूम भी होंगे। इसमें लाइब्रेरी तथा अन्य आधुनिक सुविधाएं भी रहेंगी। इसमें एमएसएमई इकाइयों के लिए प्रदर्शनी स्थल की भी व्यवस्था रहेगी।