लखनऊ। उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले में बलात्कार की एक पीड़िता को बृहस्पतिवार को जिंदा जलाने की कथित तौर पर कोशिश करने वाले सभी पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने बताया कि यह घटना बिहार थानाक्षेत्र के सिंदुपुर गांव की है। पीड़िता को लखनऊ के श्यामा प्रसाद मुखर्जी अस्पताल में भर्ती कराया गया है जहां डॉक्टरों ने कहा कि वह 90 फीसदी तक जल गई है और उसकी हालात बहुत गंभीर है। पीड़िता के साथ पिछले साल दिसंबर में बलात्कार हुआ था।
पीड़िता ने एसडीएम दयाशंकर पाठक के सामने दिए बयान में बताया वह मामले की पैरवी के लिए रायबरेली जा रही थी। जब वह गौरा मोड़ के पास पहुंची थी तभी पहले से मौजूद गांव के हरिशंकर त्रिवेदी, रामकिशोर त्रिवेदी, उमेश बाजपेई और रेप के आरोपित शिवम त्रिवेदी, शुभम त्रिवेदी ने उस पर हमला कर दिया और उस पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी। पीड़िता ने आरोप लगाया कि शिवम और शुभम त्रिवेदी ने दिसंबर 2018 में उसे अगवा कर उससे बलात्कार किया था।
हालांकि इस संबंध में प्राथमिकी मार्च में दर्ज की गई थी। पुलिस के अनुसार पीड़िता अधजली अवस्था में काफी दूर तक दौड़ कर आई। प्रत्यक्षदर्शियों ने जब उसे देखा तो पुलिस को इसकी सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने पीड़िता को पहले सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र भेजा जहां से उसे जिला अस्पताल रेफर किया गया। बाद में जिला अस्पताल के डॉक्टरों ने उसकी स्थिति गंभीर देखते हुए लखनऊ के लिए रेफर कर दिया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घटना का संज्ञान लेते हुए अधिकारियों को निर्देश दिया कि पीड़िता को सरकारी खर्च पर हरसंभव चिकित्सा सुविधा दी जाए ।
राज्य सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि योगी ने जिला प्रशासन एवं पुलिस के अधिकारियों को निर्देशित किया कि आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्वाई कर अदालत से सख्त से सख्त सजा दिलवाई जाए। सपा और कांग्रेस ने इस घटना को लेकर योगी आदित्यनाथ सरकार को कटघरे में खड़ा किया है। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने कानून व्यवस्था को लेकर केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह एवं उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर हमला बोला है। प्रियंका ने ट्वीट किया कि देश के गृह मंत्री और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने कल झूठ कहा कि उत्तर प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति अच्छी हो गई है। उन्होंने कहा कि इस तरह की हर रोज हो रही घटनाओं को देखकर गुस्सा आता है ।
वहीं सपा ने कहा, बलात्कार पीड़िता को जलाने का प्रयास उत्तर प्रदेश में चल रहे जंगलराज का नतीजा है। मुख्यमंत्री को शर्म आनी चाहिए और पुलिस महानिदेशक को इस्तीफा देना चाहिए। पीड़िता को अच्छे से अच्छा इलाज मिलना चाहिए और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्वाई होनी चाहिए। पीड़िता को सुरक्षा भी मुहैया कराई जानी चाहिए। राष्ट्रीय महिला आयोग ने भी इस मामले का संज्ञान लिया और आयोग की प्रमुख रेखा शर्मा ने राज्य के पुलिस महानिदेशक ओ पी सिंह को पत्र लिखा।
साथ ही उन्होंने पिछले तीन वर्षों में महिलाओं के खिलाफ हुए जघन्य अपराधों और इस तरह के मामलों में मिली जमानत के बारे में भी विस्तृत रिपोर्ट मांगी। शर्मा ने पत्र में कहा, मुद्दे की गंभीरता पर विचार करते हुए आपसे आग्रह किया जाता है कि दुष्कर्म पीड़िता की ओर से दुष्कर्म की शिकायत किए जाने के दिन से अब तक की कार्वाई की रिपोर्ट दें और दुष्कर्म पीड़िता को सुरक्षा देने में नाकाम रहने वाले दोषी अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्वाई करें।
बता दें, इसी तरह का मामला हाल ही में राज्य के संभल जिले में भी हुआ था। बाद में महिला की दिल्ली के अस्पताल में मौत हो गई थी। उन्नाव उस घटना के बाद से नकारात्मक सुर्खियों में है जब एक युवती ने आरोप लगाया था कि 2017 में उससे बलात्कार किया गया था जब वह 17 वर्ष की थी। मामले में मुख्य आरोपी भाजपा के पूर्व विधायक कुलदीप सेंगर हैं।