उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने मंगलवार को कहा कि देश में सत्ता के गलियारों में अब कोई भ्रष्टाचार नहीं है और भ्रष्टाचारी या तो जेल के पीछे हैं या फरार हैं। धनखड़ ने यहां पेंशनभोगियों के एक सम्मान समारोह में हाड़ोती क्षेत्र से आये लोगों को संबोधित करते हुए कहा, अब सत्ता के गलियारों में कोई भ्रष्टाचार नहीं है। समारोह में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला और केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी भी शामिल हुए। धनखड़ ने कहा कि देश में ऐसा माहौल बना है जहां हर कोई अपनी प्रतिभा दिखा सकता है। उन्होंने कहा कि देश आज डेटा उपभोग, इंटरनेट के इस्तेमाल और आॅनलाइन लेन-देन के मामले में दुनिया में शीर्ष पर है।
उन्होंने कहा, जब इतना सब अच्छा हो रहा हो, तो मुझे समझ नहीं आता कि कुछ लोग इतने असहज क्यों हो जाते हैं।
वैसे मेरा राजनीति से कोई लेना-देना नहीं है। उपराष्ट्रपति ने कहा कि राजनीतिक दलों को उनकी राजनीति करने का अधिकार है, लेकिन यदि वे बहस नहीं करें, संवाद नहीं करें, और चर्चा नहीं करें, तो यह संभव नहीं है।
धनखड़ ने कहा कि भारत ने अपनी हजारों साल की संस्कृति को अक्षुण्ण रखा है। उन्होंने सेवानिवृत्त शिक्षकों का आह्वान किया कि बिना कुछ लिये कार्य करें और स्वार्थसिद्ध लाभ के लिए काम करने की प्रवृत्ति का विरोध करें। राज्यसभा के सभापति ने अपने स्कूल और कॉलेज के दिनों के शिक्षकों को याद करते हुए कहा कि यद्यपि उनका जन्म राजस्थान के झुंझुनू जिले में हुआ था, लेकिन असली जन्म सैनिक स्कूल चित्तौड़गढ़ में हुआ। धनखड़ मंगलवार सुबह कोटा पहुंचे और उन्होंने चित्तौड़गढ़ सैनिक स्कूल के वर्तमान छात्रों और पूर्व छात्रों से अलग-अलग संवाद किया। इसके बाद शाम को वह जयपुर रवाना हो गये।