मामूली गिरावट के साथ बंद हुए घरेलू शेयर बाजार

मुंबई। वायदा एवं विकल्प के मासिक अनुबंधों की समाप्ति पर गुरुवार को उथल-पुथल भरे सत्र के बाद घरेलू शेयर बाजार मामूली गिरावट के साथ बंद हुए। कारोबारियों ने कहा कि वैश्विक बाजारों से प्राप्त नकारात्मक संकेतों ने भी निवेशकों की धारणा को प्रभावित किया।

यह घरेलू शेयर बाजारों की लगातार दूसरे दिन की गिरावट है। बीएसई के 30 शेयरों वाले संवेदी सूचकांक सेंसेक्स में कारोबार के दौरान 581.83 अंकों का उतार-चढ़ाव देखा गया। यह कारोबार के दौरान 35,081.61 अंक के उच्चतम स्तर और 34,499.78 अंक के निचले स्तर के दायरे में रहा।

अंतत: यह 26.88 अंक यानी 0.08 प्रतिशत गिरकर 34,842.10 अंक पर बंद हुआ। इसी तरह, एनएसई का निफ्टी भी 16.40 अंक या 0.16 प्रतिशत फिसलकर 10,288.90 अंक पर बंद हुआ। दिवस के दौरान यह 10,361.80 अंक के उच्च स्तर और 10,194.50 अंक के निचले स्तर पर रहा। सेंसेक्स की कंपनियों में एशियन पेंट्स में सर्वाधिक 3.30 प्रतिशत की गिरावट रही।

इसके बाद इंफोसिस, एचसीएल टेक, एमएंडएम, ओएनजीसी, एनटीपीसी, इंडसइंड बैंक और टीसीएस में भी गिरावट रही। दूसरी ओर, आईटीसी, बजाज फाइनेंस, कोटक बैंक, आईसीआईसीआई बैंक और एचयूएल जैसी कंपनियों के शेयरों में 5.45 प्रतिशत तक की तेजी रही। जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, वायदा व विकल्प अनुबंधों की समयसीमा समाप्त होने के कारण बाजार में उथल-पुथल और अनिश्चितता का माहौल रहा, जिसके बाद अंतत: बाजार गिरावट के साथ बंद हुए।

यह वैश्विक बाजारों की सुस्ती के भी समतुल्य रहा। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) द्वारा भारत की आर्थिक वृद्धि दर के अनुमान में कटौती करने तथा कोरोना वायरस के संक्रमण के मामलों में वृद्धि जारी रहने के कारण बाजार में सतर्कता स्पष्ट तौर पर देखी गई। उन्होंने कहा, क्षेत्रवार भी सूचकांकों में मिश्रित रुख रहा और एफएमसीजी में सर्वाधिक तेजी देखी गई। बाजार में कुछ नकारात्मक धारणा बनती दिख रही है, ऐसे में निवेशकों को सतर्कता बरतने की सलाह दी जाती है।

आनंद राठी के प्रमुख- इक्विटी रिसर्च (फंडामेंटल) नरेंद्र सोलंकी के अनुसार, बाजार ने अमेरिकी बाजारों से मिले कल रात के नकारात्मक संकेतों और एशियाई बाजारों की सुस्ती के कारण कारेाबार की शुरुआत गिरावट में रही। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) ने वैश्विक अर्थव्यवस्था की वृद्धि के अनुमानों को संशोधित किया और बुधवार को इसमें अतिरिक्त कटौती की। उसने कहा कि वैश्विक अर्थव्यवस्था में इस साल 4.9 फीसदी की गिरावट आ सकती है।

इससे पहले उसने अप्रैल में अपनी पिछली रिपोर्ट में तीन फीसदी गिरावट की आशंका व्यक्त की थी। कारोबारियों ने बताया कि इसके अलावा दुनिया भर में कोरोना वायरस महामारी के संक्रमण के मामलों की बढ़ती संख्या अर्थव्यवस्थाओं को फिर से खोलने से उत्पन्न आशावाद पर लगाम लगा रही है। एशियाई बाजारों में जापान के निक्की और दक्षिण कोरिया के कोस्पी में 2.27 प्रतिशत तक की गिरावट दर्ज की गई।

चीन का शंघाई कंपोजिट और हांगकांग का हैंगसेंग सार्वजनिक अवकाश के कारण बंद रहे। यूरोपीय शेयर बाजार शुरुआती सौदों में मिश्रित कारोबार कर रहे थे। दुनिया भर में कोविड-19 मामलों की संख्या 94.08 लाख को पार कर गई है और इस महामारी से मरने वालों की संख्या भी 4.82 लाख तक पहुंच गई है। भारत में संक्रमण के कुल मामले 4,73,105 हो गए हैं, जबकि इसके कारण मरने वालों की संख्या 14,894 हो गई है। इस बीच, अंतरराष्ट्रीय तेल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड का वायदा 0.42 प्रतिशत फिसलकर 40.14 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया।

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