कोलकाता: उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को याद करते हुए शुक्रवार को कहा कि उनमें सभी क्षेत्रों के लोगों और विभिन्न विचारधाराओं के राजनीतिक दलों के नेताओं से जुडऩे की क्षमता थी। उन्होंने कहा कि वाजपेयी ने सभी को नि:स्वार्थ भाव से देश की सेवा करना और मानवता एवं सहिष्णुता के सिद्घांतों पर प्रतिबद्घ रहना सिखाया। उनका वास्तव में कोई शत्रु नहीं था और वह सही मायने में अजातशत्रु थे। नायडू ने यहां आईसीसीआर स्थित रवींद्रनाथ टैगोर सेंटर में पूर्व प्रधानमंत्री की प्रतिमा का अनावरण किया। देश में शुक्रवार को वाजपेयी की पहली पुण्यतिथि मनाई गई। उपराष्ट्रपति कार्यालय ने नायडू के हवाले से ट्वीट किया, अटल जी में सभी क्षेत्रों के लोगों और विभिन्न विचारधाराओं के राजनीतिक दलों के नेताओं से जुडऩे की अद्भुत क्षमता थी। अटल जी का वास्तव में कोई शत्रु नहीं था और वह सही मायने में अजातशत्रु थे।
उन्होंने एक अन्य ट्वीट में कहा कि वह भविष्य की ओर देखने वाले, आगे बढऩे वाले भारत में विश्वास करते थे। नायडू ने कहा, उनका दृढ़ता से मानना था कि भारत के पास संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का स्थाई सदस्य बनने का वैध अधिकार है। वाजपेयी एक राजनीतिज्ञ और दूरदर्शी थे। वह देश के सबसे बड़े नेताओं में ही शामिल नहीं थे, बल्कि वह सर्वाधिक प्रिय नेताओं में भी शुमार थे। नायडू ने लोकतंत्र को मजबूत करने में वाजपेयी के योगदान को याद करते हुए कहा कि उन्होंने दर्शाया कि लोकतंत्र को सुशासन से कैसे मजबूत किया जा सकता है और पूर्व प्रधानमंत्री ने देश में कनेक्टिविटी क्रांति शुरू की।