लंबे समय से वे यहीं रह रहे हैं। तालिबान के अफगानिस्तान पर कब्जा करने और उसकी चीन से नजदीकी से सभी उइगर मुस्लिम अपने भविष्य के प्रति आशंकित हैं। पिछले कुछ वर्षों में चीन ने शिनजियांग में सुरक्षा कड़ी करने के साथ ही धार्मिक आधार पर उत्पीड़न तेज कर दिया है। अमेरिका की एक रिपोर्ट के अनुसार बीस लाख से ज्यादा उइगर मुस्लिम अभी भी शिनजियांग के यातनागृह में बंद हैं।

तमाम उइगर मुस्लिम अफगानिस्तान में 45 साल पहले आए थे। इनमें से बड़ी तादाद को अब अफगान नागरिकता मिल चुकी है। चीन का तालिबान के साथ सहयोग अब उन्हें बेवजह नजर नहीं आ रहा। उनको लगता है कि चीन उनके प्रत्यर्पण की मांग कर सकता है।