लखनऊ। पेंशन बढ़ोतरी न किए जाने और वृद्ध पेंशनरों के हितों की अनदेखी किए जाने के विरोध में ईपीएस-95 राष्ट्रीय संघर्ष समिति द्वारा गोमती नगर स्थित ईपीएफओ कार्यालय पर धरना दिया गया, जिसमें सार्वजनिक उपक्रमों एवं निजी संस्थाओं के सैकड़ो पेंशनरों ने भाग लिया। धरना स्थल पर आयोजित सभा में पेंशनरों ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकारें तरह-तरह की मुफ्त की घोषणाएं कर रही है परंतु जिन कर्मियों ने 30-35 वर्ष तक सेवा काल के दौरान नियमित पेंशन अंशदान दिया उनको 300 से 3000 रू पेंशन देकर उनके साथ अन्याय किया जा रहा है।
अनेकों बार बैठकों के बावजूद ईपीएफओ और श्रम मंत्रालय इस मसले को हल करने की बजाय टालमटोल की नीति अपना रहे है।पेंशनरों ने कहा कि उनकी न्यूनतम पेंशन 7500/- महीना, महंगाई भत्ता और पति-पत्नी को मुफ्त चिकित्सा सुविधा की मांग तत्काल पूर्ण की जाए वरना देश भर में आंदोलन किया जाएगा। 01 अक्टूबर को मुंबई में पेंशनरों की महा रैली होगी जो कि हरियाणा और महाराष्ट्र के विधानसभा चुनाव की दिशा तय करेगी। समिति की महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्षा गीता वर्मा के नेतृत्व में केंद्रीय श्रम मंत्री के नाम का ज्ञापन ईपीएफओ कमिश्नर नवीन कनौजिया को दिया गया।
धरने में आवश्यक वस्तु निगम, अपट्रान, रोडवेज, पी सी एफ, आईटीआई, एच ए एल, सीड कॉरपोरेशन, वन निगम, सेतु निगम, निर्माण निगम, रिलांयस इन्डिया, मोहन मिकीनस, विक्रम काटन मिल्स, स्कूटर इंडिया, एल एम एल, चीनी मिल आदि अनेक संस्थाओं के पेंशनरों ने भाग लिया। धरना स्थल पर सभा को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के एस तिवारी, राष्ट्रीय सचिव राजीव भटनागर, प्रांतीय महामंत्री राजशेखर नागर, आर एन द्विवेदी, पीके श्रीवास्तव, दिलीप पांडे, सुभाष चौबे, उमाकांत सिंह, अशोक बाजपेई, सतीश अग्निहोत्री, रमेश श्रीवास्तव, मनोज भटनागर, नासिर खान, जी के बहल, गीता वर्मा, सुनीता सोनकर, अखिलेश दयाल आदि ने संबोधित किया।