दस दिवसीय उत्तराखण्ड महोत्सव का चौथा दिन
लखनऊ। पावन गोमा तट (बीरबल साहनी मार्ग) भारत रत्न पंडित गोविंद बल्लभ पंत पर्वतीय सांस्कृतिक उपवन पर चल रहे उत्तराखंड महोत्सव के चतुर्थ दिवस पर महोत्सव स्थल पर अपार भीड़, सारे स्टाल फुल हैं, उनमें मिल रहे हस्तलिपियों द्वारा निर्मित हस्तशिल्प उत्पाद और कुछ ऐसे उत्पाद, जो कि प्राय स्थानीय बाजार में नहीं, बल्कि इस महोत्सव में ही उपलब्ध होते हैं। ऐसी वस्तुओ की खरीदारी कर रही अपार भीड़ से दुकानदार उत्साहित हैं तथा आगंतुक भी प्रसन्न हैं।
आज दिन के कार्यक्रम में अतिथि भारतीय जीवन बीमा निगम के वरिष्ठ मण्डल प्रबन्धक संजय कुमार सिंह, विक्रय प्रबन्धक श्री चारू तिवारी, मार्केटिंग मैनेजर बीएन पाण्डेय तथा प्रशासनिक अधिकारी तौहीद अहमद महोत्सव की शोभा बढ़ायी। डांस उत्तराखण्ड डांस (सीजन-3) में 11 टीमों में इस बार 140 कलाकार भाग ले रहे हैं जो कि 150 कुमाऊँनी, गढ़वाली, जौनसारी गानों के साथ छपेली में अपनी प्रस्तुतियाँ दे रहं है। आज से इसका दूसरा राउण्ड शुरू हो चुका है। प्रवासी उत्तराखण्डी युवा पीढ़ी इसमें बढ़ चढ़ कर हिस्सा ले रही है। झोड़ा 22 झोड़ों की टीमों में 500 महिलाएँ पौराणिक विधा की रंगीन छठा मंच पर बिखेर रही हैं। इन सभी प्रतियोगताओं में लगभग रू. पांच लाख का पुरस्कार रखा गया है। इन प्रतियोगिताओं को संजोने में पूरन सिंह जीना उपाध्यक्ष तथा महेन्द्र सिंह गैलाकोटी सांस्कृतिक सचिव का बहुमूल्य योगदान है।
सायं कालीन कार्यक्रमों का शुभारम्भ महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्ष पुष्पा वैष्णव के नेतृत्व में महिला प्रकोष्ठ के पदाधिकारियों एवं सदस्यो द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया गया।
मीडिया प्रभारी राजेन्द्र सिंह कनवाल ने बताया कि उत्तराखंड की बाल मिठाई की बिक्री भी खूब हो रही हैं, सर्वप्रथम यह अल्मोड़ा में बनाई गई थी, अब उत्तराखंड में लगभग सभी जगह में बनाई जाती है। दोपहर में छोलिया नृत्य दल-उधान्चल कला केन्द्र अल्मोड़ा के कलाकारों द्वारा घूम-घूम कर अपनी प्रस्तुति दी। एकल नृत्य प्रतियोगिता में सुन्दर प्रस्तुति देकर-जीविका पाण्डेय प्रथम, यामिनी जोशी ने द्वितीय स्थान प्राप्त किया। युगल नृत्य प्रतियोगिता में सुन्दर प्रस्तुति देकर-कार्तिक एवं मिष्ठी ने प्रथम, साइना एवं रिया ने द्वितीय स्थान प्राप्त किया। इन प्रतियोगिताओं को सम्पन्न कराने में महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्ष पुष्पा वैष्णव तथा उपाध्यक्ष सुनीता कनवाल की महत्वपूर्ण भूमिका रही।
श्री मृदु नन्दन सनवाल शिष्य पंडित शीतल प्रसाद मिश्रा द्वारा सुन्दर तबला वादन अरूनिमा चतुवेर्दी द्वारा बॉलीवुड हिपहाप प्रस्तुत कर तालियाँ बटोरी। ग्रेस एण्ड पेस स्टूडियो द्वारा श्रीमती शैलजा श्रीवास्तव के नेतृत्व में शिव स्तुति- तनिष्का श्रीवास्तव, राजस्थानी कालबेलिया अंशिका सिंह, घूमर – नीलमश्री, राजश्री, श्रुति, रास कृष्ण स्तुति-नीलमश्री, राजश्री, श्रुति, पलक शाह, ईशानवी, तनिष्का श्रुति एवं भजन गायन- अखिलेश निगम, मैश-अप सॉग- अखिलेश निगम,कृष्णा, अचल शेखर, भजन-राम आयेंगे सौम्या गुप्ता, नीलम, पलक का सुन्दर प्रस्तुतिकरण कर मंत्रमुग्ध किया। भरतनाट्यम की क्लासिकल प्रस्तुति श्रीमती जया तोलानी के नेतृत्व में भाव्या त्रिपाठी, सिद्धि सिंह, अनुष्का सिंह, दीक्षा वर्मा और सेमी क्लासिकल टीया वाधवा, इशिमर गर्ग, देवयानी सिंह, गन्नत तथा फोज डांस प्रीति पाण्डेय, शिखा सिंह, आस्था शर्मा ने अपनी सुन्दर प्रस्तुतियों से दर्शकों का मनोरंजन किया।
संस्कृति विभाग, उत्तर प्रदेष सरकार के सहयोग से माता प्रसाद के नेतृत्व मे अयोध्या के कलाकारो के द्वारा फरवारी लोक नृत्य की प्रस्तुतियाँ देकर अपनी लोककला से रूबरू कराया-यह नृत्य खेत-खलिहान में जब किसान की पैदावार ज्यादा हो जाती है तो उसी खुशी का इजहार करने के लिए फरवारी नृत्य किया जाता है। संस्कृति विभाग, उत्तराखण्ड सरकार के सहयोग से नई दिशाए, नैनीताल, उत्तराखण्ड के कलाकारों ने श्री किशन लाल के नेतृत्व में उत्तराखण्ड के लोक गीत एवं नृत्य से परिचय करा कर खूब वाहवाही बटोरी।