back to top

निराशा से शक्तियों का ह्रास

आशा हमारे जीवन में एक उम्मीद की तरह होती है जो मनुष्य को कर्म की प्रेरणा देती है, सफलता का भरोसा देती है और जीवन में सकारात्मकता एवं सृजन की प्रेरणा देती है। निराशावाद महा भयंकर राक्षस के समान है जो मुंह फाड़े हमारे इस परम आनन्दमय जीवन के सर्वनाश के चक्कर में रहता है। जो हमारी समस्त शक्तियों का ह्रास किया करता है। जो हमें आध्यात्मिक पथ पर अग्रसर नहीं होने देता और जीवन के अंधकारमय अंश हमारे सम्मुख प्रस्तुत किया करता है।

हमें पग-पग पर असफलता ही असफलता दिखाता है और विजय द्वार में प्रविष्ट नहीं होने देता। इस बीमारी से ग्रस्त लोग उदास, खिन्न मुद्रा लिए घरों के कोने में पड़े दिन रात मक्यिां मारा करते हैं। ये व्यक्ति ऐसे चुम्बक हैं जो उदासी के विचारों को निरन्तर अपनी ओर आकर्षित करते हैं और दुर्भाग्य की कुत्सित डरपोक विचारधारा में निमग्न रहा करते हैं। उन्हें चारों ओर कष्ट ही कष्ट दीखते हैं। कभी यह कभी वह, एक न एक भयंकर विपत्ति आती हुई दृष्टिकोचर होती है। वे बातें करते हैं तो यांत्रणाओं, विपत्तियों और क्लेशपूर्ण अभद्र प्रसंग छेड़ा करते हैं।

हर व्यक्ति से वह यही कहा करते हैं कि भाई हम क्या करें, हम बदनसीब हैं, हमारा भाग्य फूटा हुआ है, देव हमारे विपरीत हैं, तभी तो हमें थोड़ी-थोड़ी दूर पर लज्जित और परेशान होना पड़ता है। उनकी चिन्तित मुद्रा देखने से यही विदित होता है, मानों उन्होंने उस पदार्थ से गहरा संबंध स्थापित कर लिया हो, जो जीवन की सब मधुरता नष्ट कर रहा हो, उनके सोने जैसे जीवन का समस्त आनन्द छीन रहा हो, उन्नति के मार्ग को कंटकाकीर्ण कर रहा हो, मानो समस्त संसार की दुख विपत्ति उन्हीं के सर पर आ पड़ी हो औरउदासी की अंधकारमय छाया उनके हृदय पटल को काला बना दिया हो।

इसके विपरीत आशावाद मनुष्य के लिए अमृत तुल्य है। जैसे तूषित को शीतल जल से, रोगी को औषधि से, अंधकार को प्रकाश से, वनस्पति को सूर्य से लाभ होता है, उसी भांति आशावाद की संजीवनी बूटी से मृत प्राय: मनुष्य में जीवन शक्ति का प्रदुर्भाव होता है। आशावाद वह दिव्य प्रकाश है जो हमारे जीवन को उत्तरोत्तर परिपुष्ट, समृद्धशाली और प्रगतिशील बनाता है। सुख सौंदर्य एवं आलौकिक छटा से उसे विभूषित कर उसका पूर्ण विकास करता है। उसमें माधुर्य का संचार कर विघ्न बाध, दुख कलेशों और कठिनाइयों पर विजय प्राप्त करने वाली गुप्त मन:शक्ति जाग्रत करता है। आत्मा की शक्ति से देदीप्यामान आशावादी उम्मीद का पल्ला पकड़े प्रलोभनों को रौंदता हुआ अग्रसर होता है। वह पग-पग पर विचलित नहीं होता, उसे कोई पराजित नहीं कर सकता, संसार की कोई शक्ति उसे नहीं दबा सकती।

RELATED ARTICLES

कथकली नृत्य के अद्भुत रूप देख दर्शक मंत्रमुग्ध

आयोजन विश्वविद्यालय के राय उमानाथ बली प्रेक्षागृह में किया गयालखनऊ। भातखण्डे संस्कृति विश्वविद्यालय, लखनऊ एवं स्पिक मैके के संयुक्त तत्वावधान में कथकली नृत्य कार्यक्रम...

फिल्मों को प्रोत्साहित कर रही है उत्तर प्रदेश सरकार : राकेश बेदी

लखनऊ इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल का ऐलान, नई हिंदी फिल्म शुभ संगम की घोषणालखनऊ। नवाबों का शहर लखनऊ अब सिनेमा के रंग में रंगने जा...

नृत्य नाटिका में शक्ति की उपासना, मां दुर्गा के हुए दर्शन

मोहन सिंह बिष्ट सभागार, कुर्मांचल नगर में आयोजितलखनऊ। संस्कृति सेवा समिति, लखनऊ के तत्वाधान में आयोजित तथा संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार के सहयोग से...

Most Popular

फिल्मों को प्रोत्साहित कर रही है उत्तर प्रदेश सरकार : राकेश बेदी

लखनऊ इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल का ऐलान, नई हिंदी फिल्म शुभ संगम की घोषणालखनऊ। नवाबों का शहर लखनऊ अब सिनेमा के रंग में रंगने जा...

नृत्य नाटिका में शक्ति की उपासना, मां दुर्गा के हुए दर्शन

मोहन सिंह बिष्ट सभागार, कुर्मांचल नगर में आयोजितलखनऊ। संस्कृति सेवा समिति, लखनऊ के तत्वाधान में आयोजित तथा संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार के सहयोग से...

आध्यात्मिक यात्रा से ऊर्जा मिलेगी : रितिका चौधरी

भक्ति संवाद कार्यक्रम आयोजितलखनऊ। सनातन धर्म के मार्ग एवं आध्यात्मिक चिंतन व साधना के प्रचार प्रसार हेतु जन जागरण को एक मंच पर लाने...

सब नर करहिं परस्पर प्रीती, चलहिं स्वधर्म निरत श्रुति नीती…

त्रिवेणीनगर राम कथा का समापन लखनऊ। त्रिवेणी नगर में हो रही श्रीराम कथा के समापन दिवस पर कथा व्यास भाईश्री दिलीप शुक्ल ने कहा कि...

प्रमाण पत्र वितरण के साथ उर्दू ड्रामा प्रशिक्षण सत्र सम्पन्न

प्रशिक्षणार्थियों और कलाकारों का उत्साहवर्धन कियालखनऊ। डॉ सीमा मोदी ने बताया मीडिया सेंटर ,उत्तर प्रदेश उर्दू अकादमी प्रांगण में आज एक बेहतरीन और यादगार...

महानगर रामलीला 26 से, तैयारियां तेज

आठ दिवसीय रामलीला महोत्सव का आयोजनलखनऊ। श्री रामलीला समिति महानगर द्वारा गत वर्षो की भांति इस वर्ष भी रामलीला महोत्सव का आयोजन 26 सितंबर...

संतान के निरोगी रहने के लिए जितिया व्रत आज

रविवार को व्रत रख कर सोमवार को उसका पारण सुबह करेंगीलखनऊ। संतान के दीघार्यु, सुखी और निरोगी जीवन के लिए जीवित्पुत्रिका व्रत, जितिया व्रत...

मैं तेरे प्यार का मारा हुआ हूं, सिकंदर हूं मगर हारा हुआ हूं…

साहित्य और कला से न जुड़ने वाला व्यक्ति अधुरा : डॉ जी.के. गोस्वामीयूपीएसआईएफएस ने किया कवि सम्मेलन से हिन्दी दिवस का स्वागत लखनऊ। उत्तर प्रदेश...