नई दिल्ली। कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ नीच वाली टिप्पणी को मणिशंकर अय्यर द्वारा सही ठहराने की निंदा की और आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री ने खुद राजनीतिक संवाद का स्तर गिराने का काम किया है।
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने संवादाताओं से कहा, घृणा , हिंसा और गाली-गलौज भाजपा के हथियार हैं। प्रधानमंत्री मोदी व्यक्तिगत विरोध की आग में इतने अंधे हो गए हैं कि वह पद की गरिमा भूल गए। उन्होंने पद की गरिमा को धूमिल किया है। उन्होंने कहा, हम मणिशंकर अय्यर सहित उन सभी की निंदा करते हैं जो अपने शब्दों की मर्यादा भूल गए।
ऐसा लगता है कि कुछ लोग सुर्खियों में रहने के लिए ऐसा करते हैं। अगर कोई ऐसा करता है तो उसे हम दण्डित करते हैं। ऐसी भाषा कांगेस की परंपरा नहीं है। यह पूछे जाने पर कि क्या पार्टी अय्यर पर कोई कार्वाई करेगी तो सुरजेवाला ने कहा कि उचित मंच पर इस विषय को रखा जाएगा और उचित कदम उठाया जाएगा।
सुरजेवाला ने सवाल किया, क्या प्रधानमंत्री जी आप बताएँगे कि नेहरू और राजीव गांधी जी के बारे में आपने जिस अनर्गल भाषा का इस्तेमाल किया तो क्या माफी मांगी? क्या 50 करोड़ की गलफ्रेंड वाला बयान दिया, तो उसके लिए माफी मांगी? सोनिया जी को कांग्रेस की विधवा कहा, क्या अपने कभी माफी मांगी? उन्होंने दावा किया कि प्रधानमंत्री जी ने शब्दों की मर्यादा गिराने की परंपरा शुरू की है। मुझे लगता है कि मोदी जी या उनके साथी गाली देते हैं तो उसे मीडिया नहीं उठाता।
सुरजेवाला ने कहा कि शब्दों की मर्यादा और गरिमा की हत्या करने के लिए प्रधानमंत्री को आत्मचिंतन करना चाहिए। अय्यर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हालिया रैलियों के बयानों का हवाला देते हुए लेख में कहा है, देश की जनता किसी भी सूरत में 23 मई को मोदी को सत्ता से हटा देगी। अब तक के सबसे ज्यादा ऊटपटांग बयान देने वाले प्रधानमंत्री की यह माकूल विदाई होगी। याद है 2017 में मैंने मोदी को क्या कहा था?
क्या मैंने सही भविष्यवाणी नहीं की थी ? दरअसल, अय्यर ने 2017 में गुजरात विधानसभा चुनाव के समय प्रधानमंत्री मोदी को नीच किस्म का आदमी कहा था। इस बयान पर खासा बवाल मचा था और बाद में कांग्रेस नेता को माफी मांगनी पड़ी थी। कांग्रेस ने उन्हें निलंबित कर दिया था, हालांकि कुछ महीनों के बाद उनका निलंबन निरस्त हो गया था।