लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को रिजर्व पुलिस लाइन में आयोजित पुलिस स्मृति दिवस कार्यक्रम में उन सभी पुलिसकार्मिकों को विनम्र श्रद्धांजलि दी जो कर्तव्य का पालन करते हुए अपना सर्वोच्च बलिदान देकर अमर हो गए। उन्होंने कहा कि पुलिसकर्मियों का ये बलिदान हमें निरंतर कर्तव्य पथ पर पूर्ण निष्ठा एवं दायित्व बोध के साथ आगे बढ़ने की प्रेरणा देता रहेगा। शहीद पुलिसजनों के परिवार के सदस्यों को आश्वस्त करता हूं कि हमारी सरकार उनके कल्याण के लिए पूरी संवेदनशीलता के साथ सभी जरूरी कदम उठाने के लिए सदैव तत्पर रहेगी। पुलिसकर्मी अत्यंत कठिन परिस्थितियों में भी अपने कर्तव्यों को सर्वोपरि मान कर प्रदेश में अपराधों पर लगाम लगाने के लिए कानून व्यवस्था को चुस्त और दुरुस्त रखा है।
- रिजर्व पुलिस लाइन में आयोजित पुलिस स्मृति दिवस परेड में शामिल हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ
- सीएम बोले- विषम और अत्यंत कठिन परिस्थितियों में भी पुलिस ने प्रदेश में कानून का राज किया स्थापित
- सीएम ने उत्तर प्रदेश पुलिस की उपलब्धियों के साथ प्रदेश सरकार द्वारा चलायी जा रही योजनाओं का भी किया उल्लेख
पुलिस स्मृति दिवस पिछले 6 वर्षों के दौरान प्रयागराज का दिव्य और भव्य कुंभ, लोकसभा सामान्य निर्वाचन 2019, त्रिस्तरीय पंचायत सामान्य निर्वाचन 2021, विधानसभा सामान्य निर्वाचन 2022, नगर निकाय सामान्य निर्वाचन 2023 को शांतिपूर्ण संपन्न कराने में प्रदेश पुलिस बल का उल्लेखनीय योगदान रहा है। यही नहीं प्रदेश पुलिस वैश्विक महामारी कोविड-19 के दौरान भी जनता की सहायता के लिए सदैव तत्पर रही है।
इससे पहले उन्होंने परेड को सलामी दी। इस दौरान उन्हें शोक पुस्तिका सौंपी गयी। इसके बाद डीजीपी ने शोक पुस्तिका में दर्ज अमर शहीदों के नाम पढ़े। वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पुलिस शहीद स्मारक स्थल पर पुष्पचक्र अर्पित कर शहीदों को नमन किया। सीएम योगी ने कार्यक्रम में शहीद पुलिसकर्मियों के परिजनों से मुलाकात कर उन्हे सम्मानित भी किया।
साढ़े छह वर्षों में डेढ़ लाख से अधिक पुलिस कर्मियों की हुई भर्ती
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बताया कि शहीद पुलिस स्मृति दिवस कर्मियों के साथ केंद्रीय अर्ध सैनिक बलों, अन्य प्रदेश के अर्ध सैन्य बलों, भारतीय सेना में कार्यरत एवं मूलरूप से उत्तर प्रदेश के रहने वाले 140 शहीद कार्मिकों के आश्रितों को 38 करोड़ 96 लाख रुपए की आर्थिक सहायता दी गयी है। पुलिस महानिदेशक उत्तर प्रदेश द्वारा 85 और अतिरिक्त पुलिसकर्मियों को उत्कृष्ट सेवा सम्मान चिन्ह तथा 408 पुलिसकर्मी को सराहनीय सेवा सम्मान चिह्न से सम्मानित किया गया। इसके अलावा पुलिस कार्मिकों को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से पुलिस महानिदेशक उत्तर प्रदेश का प्रशंसा चिन्ह डीजी कमेंडेशन डिस्क, 40 प्लैटिनम, 104 गोल्ड और 777 सिल्वर राजपत्रित और राजपत्रित पुलिसकर्मियों को प्रदान किए गए। सीएम योगी ने कहा कि वर्ष 2017 के बाद पुलिस बल के विभिन्न पदों पर 1,51,985 भर्ती की गई, जिनमें से 22044 से अधिक महिला कार्मिक शामिल हैं। इसके साथ ही पुलिस विभाग के विभिन्न विभिन्न पदों पर 134235 कार्मिकों को पदोन्नति भी प्रदान की गई। साथ ही 65,389 पदों पर भर्ती प्रक्रिया और 11,885 पदों पर पदोन्नति की प्रक्रिया चल रही है।
पुलिस कार्रवाई में 190 दुर्दांत अपराधी हुए ढेर
सीएम योगी ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था को सुदृढ़ कर जन मानस में सुरक्षा की भावना उत्पन्न करना एवं अपराधियों में कानून का भय पैदा करना हमारी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। ऐसे में प्रदेश पुलिस बल के बजट में दोगने से अधिक की वृद्धि की गई है। वर्ष 2017-18 में कुल बजट 16,115 करोड़ 18 लाख रुपये का था, जो वर्ष 2022-23 में 37,109 करोड़ 99 लाख हो गया। सीएम ने कहा कि वहीं पुलिस बल को अत्याधुनिक उपकरण उपलब्ध कराने के उद्देश्य से बजट में उल्लेखनीय वृद्धि की गई। वित्तीय वर्ष 2017-18 में इस कार्य के लिए 2 करोड़ 81 लाख 82 हजार रुपए आवंटित किए गए। वर्ष 22-23 में 122 करोड़ 50 लाख रुपए पुलिस आधुनिकीकरण के लिए आवंटित किए गए। पुलिस बल की क्रियाशीलता एवं प्रभाव में वृद्धि के लिए विभिन्न जनपदों में 39 नये थाने, एक महिला थाना, 6 नारकोटिकस थाना, 36 पुलिस चौकियां एवं एक जल पुलिस चौकी की स्वीकृति भी प्रदान की गई। सीएम योगी ने बताया कि हमारी सरकार की अपराध और अपराधियों के प्रति जीरो टॉलरेंस के नीति है। इसके तहत विभिन्न जनपदों में मार्च-17 से सितंबर-23 तक 190 दुर्दांत अपराधी पुलिस मुठभेड़ में मारे गए। इस कार्रवाई में 5191 अपराधी घायल हुए। वहीं पुलिस बल के 16 जवान शौर्य का प्रदर्शन करते हुए वीरगति को प्राप्त हुए।
पूरे प्रदेश में 10,378 महिला बीट का किया गया आवंटन
सीएम ने बताया कि प्रदेश में महिलाओं की सुरक्षा, सशक्तिकरण के लिए गठित एंटी रोमियो स्क्वाड द्वारा लगातार अभियान चलाया जा रहा है। इससे खासतौर पर बालिकाओं की सुरक्षा की भावना सुदृढ़ हुई है। महिला सुरक्षा के लिए गठित विशेष दल ने 30 सितंबर-23 तक 29,91,125 स्थानों पर संघन तलाशी करते हुए 7,300 अभियुक्तों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर 49 लोगों के विरुद्ध वैधानिक कार्रवाई की जबकि 47,53,746 लोगों को चेतावनी दी गई। इतना ही नहीं प्रदेश के प्रत्येक थाने में महिला बीट आरक्षी तथा महिला हेल्प डेस्क की स्थापना की गई। सभी जनपदों में 15,130 महिला पुलिस कार्मिकों को नियुक्त करते हुए 10,378 महिला बीट का आवंटन भी किया गया।