लखनऊ। बसपा सुप्रीमो मायावती ने सीएए और एनआरसी के विरोध में संघर्ष करने वाली महिलाओं के खिलाफ दर्ज मामले वापस लेने की मांग की है। शहर के घंटाघर इलाके में 17 जनवरी से सीएए के खिलाफ धरना चल रहा है।
मायावती ने सोमवार को ट्वीट किया, सीएए एनआरसी आदि के विरोध में संघर्ष करने वाली महिलाओं समेत जिन लोगों के भी खिलाफ उप्र की भाजपा सरकार द्वारा गलत मुकदमे दर्ज किए गए हैं उन्हें तुरन्त वापस लिया जाए। उन्होंने कहा कि सीएए और एनआरसी के विरोध में संघर्ष के दौरान जान गंवाने वालों के परिवार वालों की सरकार को उचित मदद करना चाहिए। यह बसपा की मांग है।
उत्तर प्रदेश पुलिस ने शनिवार को एक महिला सहित 10 लोगों को गिरफ्तार किया और निषेधाज्ञा के उल्लंघन के लिए 100 महिला प्रदर्शनकारियों के खिलाफ मामला दर्ज किया। ठाकुरगंज के थाना प्रभारी प्रमोद मिश्रा ने बताया था कि 10 महिलाओं और सौ अज्ञात महिलाओं के खिलाफ निषेधाज्ञा का उल्लंघन करने के आरोप में मामला दर्ज किया गया है। यह लोग घंटाघर पर प्रदर्शन कर रहे थे।
उन्होंने बताया कि इसके अलावा आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनमें पूजा शुक्ला और सात पुरुष कार्यकर्ता शामिल है। दिल्ली के शाहीन बाग में नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ चल रहे प्रदर्शन की तर्ज पर लखनऊ के घंटाघर पर प्रदर्शन हो रहा है। महिला प्रदर्शनकारियों का कहना है कि जब तक केंद्र सरकार सीएए और एनआरसी को वापस नहीं लेती, तब तक उनका आंदोलन जारी रहेगा।