उन्नाव कांड: पीड़िता के दूसरे वकील को सुरक्षा, तीन सुरक्षाकर्मी निलंबित

लखनऊ: जिला प्रशासन ने उन्नाव बलात्कार पीड़िता के मुकदमों में पैरवी करने वाले दूसरे अधिवक्ता अजेन्द्र अवस्थी को सरकारी सुरक्षा मुहैया करा दी है। वहीं, पीड़िता की सुरक्षा में लगे तीनों सुरक्षाकर्मियों को पुलिस अधीक्षक ने निलंबित कर दिया है। पीड़िता की सुरक्षा में एक गनर और दो महिला सुरक्षाकर्मी तैनात थीं। ये सभी दुर्घटना के वक्त पीड़िता के साथ नहीं थे। उन्नाव पुलिस अधीक्षक एमपी वर्मा ने बताया कि ड्यूटी से अनुपस्थित रहने के चलते पीड़िता की सुरक्षा में लगे तीनों सुरक्षाकर्मियों- गनर सुदेश कुमार, महिला आरक्षी रूबी पटेल और महिला आरक्षी सुनीता देवी को निलम्बित कर दिया गया है। दूसरी ओर, पीड़िता के परिवार की ओर से आरोप लगाए जाने के बाद प्रशासन ने अब पीड़िता के चाचा के वकील अजेंद्र अवस्थी को भी सुरक्षा दे दी है। इस बारे में अधिवक्ता अजेन्द्र अवस्थी ने खुद बताया कि जिला प्रशासन ने उन्हें सुरक्षा दी है। वह पीड़िता के चाचा पर चल रहे दूसरे मुकदमों की पैरवी कर रहे हैं।

 

उधर, बाराबंकी से प्राप्त जानकारी के अनुसार पीड़िता की मौसी का ग्राम सिधियांवा में पुलिस महानिरीक्षक रेंज अयोध्या मंडल तथा बाराबंकी पुलिस अधीक्षक की उपस्थिति में अंतिम संस्कार कर दिया गया। बाराबंकी में मृतका की बेटी ने पत्रकारों के साथ बातचीत में आरोप लगाते हुए कहा कि उसकी मां की मौत हादसे में नहीं हुई है। बल्कि, विधायक कुलदीप सिंह सेंगर ने यह दुर्घटना कराई। उसकी मां पीड़िता के साथ पिछले नौ महीने से वहीं रहकर मामले की पैरवी करती थीं। उसने आरोप लगाया कि यह सबकुछ विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की सोची समझी साजिश थी। मृतका की बेटी ने कहा कि मां कि मौत की भरपाई तो नहीं हो सकती, लेकिन सरकार से मांग है कि उसके भाई को नौकरी और आर्थिक मदद उपलब्ध कराई जाए। उसने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इस मांग को पूरा करें, ताकि हम अपने परिवार का भरण पोषण कर सकें। बाकी अब हम लोगों में इस मामले में लड़ाई लडऩे की हिम्मत नहीं बची है।

 

पीड़िता की मौसी का शव गुरुवार को थाना सुबेहा क्षेत्र ले जाया गया। उनकी चिता को उनके पुत्र ने मुखाग्नि दी। अंतिम संस्कार के समय मौके पर उनकी दोनों पुत्री भी मौजूद थीं। अंतिम संस्कार के समय उपजिलाधिकारी हैदरगढ़ के साथ हैदरगढ़ क्षेत्राधिकारी और क्षेत्र के सभी थानों की फोर्स मौजूद रही। वहीं, राजस्व प्रशासन की तरफ से राजस्व निरीक्षक एवं हल्का लेखपाल भी मौजूद रहे। मौके पर काफी संख्या में ग्रामीण, ग्राम प्रधान विक्रम सिंह और स्थानीय थाना प्रभारी भी मौजूद रहे। पीड़िता की मौसी का शव आज भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच लखनऊ से सुबेहा पहुंचा। शव पहुंचते ही परिजन फूट-फूटकर रोने लगे जिन्हें पुलिस अधिकारी समझाते दिखे। उधर, कथित सड़क हादसे में बुरी तरह से घायल पीड़िता और उसके वकील की हालत आज पांचवें दिन भी स्थिर बनी हुई है। पीड़िता अभी भी वेंटीलेटर पर है। वकील को आज कुछ देर के लिए वेंटीलेटर से हटाया गया। किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी के ट्रामा सेंटर प्रभारी डॉ. संदीप तिवारी ने भाषा से कहा, पीड़िता की कई हड्डियां टूटी हैं, साथ ही सीने में भी चोट है। उसकी हालत में मामूली सुधार हुआ है लेकिन अभी इसे संतोषजनक नहीं कहा जा सकता। उसे अभी तक होश नहीं आया है। उन्होंने बताया कि लड़की का सीटी स्कैन कराया गया था लेकिन सिर में कोई चोट फिलहाल नजर नहीं आई, इसके बावजूद सिर की चोट से इनकार नहीं किया जा सकता है क्योंकि सिर की बहुत सी चोटें सीटी स्कैन में नजर नहीं आती हैं। पीड़िता की हालत जस की तस है। चिकित्सकों की टीम 24 घंटे उसकी निगरानी कर रही है और अभी वह वेंटीलेटर पर है। उन्होंने बताया कि घायल वकील महेंद्र सिंह को गुरुवार को भी दिन में कुछ देर के लिए वेंटीलेटर से हटाकर देखा गया। इस दौरान उनकी तबियत स्थिर रही। बाद में फिर उन्हें वेंटीलेटर पर रख दिया गया।

 

वहीं, समाजवादी पार्टी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, पुलिस महानिदेशक ओपी सिंह और आरोपी विधायक कुलदीप सेंगर का फोटो लगाकर ट्वीट किया कि इन तीनों के हटे बिना पीड़ित बेटी को न्याय नहीं मिलेगा। उधर, व्यापक आक्रोश और विपक्षी दलों की तीखी आलोचना के बीच भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने उन्नाव बलात्कार मामले में आरोपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर को पार्टी से निकाल दिया। इस बीच, कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने सेंगर को निष्कासित किए जाने के मामले पर ट्वीट कर कहा कि भाजपा ने एक अपराधी को सशक्त बनाए जाने की बात स्वीकार की, स्वयं को सुधारने के लिए कदम उठाया। गौरतलब है कि भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर पर बलात्कार का आरोप लगाने वाली लड़की अपनी चाची और मौसी तथा अपने वकील महेंद्र के साथ रायबरेली जेल में बंद अपने चाचा महेश सिंह से रविवार को मुलाकात करने जा रही थी। रास्ते में रायबरेली के गुरबख्श गंज क्षेत्र में उनकी कार और एक ट्रक के बीच संदिग्ध परिस्थितियों में टक्कर हो गई थी। इस हादसे में मौसी और चाची की मौत हो गई थी, जबकि पीड़िता और उसके वकील महेंद्र सिंह पिछले पांच दिन से किंग जार्ज मेडिकल विश्वविदयालय के ट्रामा सेंटर में भर्ती हैं जहां उनकी हालत स्थिर है।

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